मंदिर है काली का पर्दा है जाली का पर्दा हटा लो मेरी मां मैं दर्शन करने आई
हाथों में टीका है हाथों में बिंदिया है सिंदूर लगा लो मेरी मां मैं दर्शन करने आई
हाथों में हरवा है हाथों में माला है लाली लगा लो मेरी मां मैं दर्शन करने आई
हाथों में कंगना है हाथों में चूड़ियां हैं मेहंदी लगा लो मेरी मां मैं दर्शन करने आई
हाथों में साड़ी में है हाथों में लंहगा है चुनरी ओढ़ लो मां मैं दर्शन करने आई
हाथों में पायल है हाथों में बिछुआ है महावर लगा लो मेरी मां मैं दर्शन करने आई
हाथों में थाली है थाली में भोग है , भोग लगा लो मेरी मां मैं दर्शन करने आई
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