मेरे राम वन वन भटक रहे मेरी सिया गईं तो कहां गईं
पेड़ और पौधे तुम ही बता दो , क्या फूलों में वो छिप गईं मेरी सिया गईं तो कहां गईं
गंगा जमुना तुम ही बता दो , क्या लहरों में वो समा गई मेरी सिया गईं तो कहां गईं
सूरज चंदा तुम ही बता दो , क्या तारों में वो छिप गईं मेरी सिया गईं तो कहां गईं
धरती अम्बर तुम ही बता दो , क्या धरती में वो समा गई मेरी सिया गईं तो कहां गईं
ऋषियों मुनियों तुम ही बता दो, क्या जोगिन बन के चली गई मेरी सिया गईं तो कहां गईं
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