तुलसी भजन : अंगनइया बीच तुलसी लगायो हरे रामा (बहुत सुंदर तुलसी भजन)


अंगनइया बीच तुलसी लगायो हरे रामा
जो मोरी तुलसी को जल रोज चढ़ावे रामा ,उन घर दूध पूत बाढ़े हरे रामा अंगनइया बीच तुलसी लगायो हरे रामा
जो मोरी तुलसी को दिया जलावे रामा ,उन घर अन्न धन बाढ़े हरे रामा अंगनइया बीच तुलसी लगायो हरे रामा
जो मोरी तुलसी को सिंदूरा लगावे रामा उन घर सुहाग जुग जुग बाढ़े हरे रामा अंगनइया बीच तुलसी लगायो हरे रामा
जो मोरी तुलसी की सेवा करे रामा ,उन घर स्वर्ग समान हरे रामा अंगनइया बीच तुलसी लगायो हरे रामा


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